सुबह
उठकर
अपनी हथेलियाँ क्यों देखनी चाहिए?
Deepak Kumar Saini - Vastu & Geopathy Coach & Expert
दोस्तों आज हम आपको बताएँगे कि सुबह-सुबह उठ कर अपनी हथेलियों को क्यों देखना चाहिए?
हथेलियाँ
हथेलियाँ
अपने संस्कारों में बचपन से हमें सिखाया जाता है कि सवेरे उठते ही पहले अपनी हथेलियों को देखकर प्रार्थना करनी चाहिए।
सुबह-सुबह
सुबह-सुबह
सुबह अपनी हथेलियों को देखकर प्रार्थना करने से अपने में समर्पण की भावना जागती है तथा आत्मविश्वास भी बढ़ता है।
समर्पण की भावना
समर्पण की भावना
उठते ही सर्वप्रथम अपनी हथेलियों को देखकर करें ये प्रार्थना -
कराग्रे वास्ते लक्ष्मी: करमध्ये सरस्वती।
करमूले तू गोविन्द: प्रभाते कर दर्शनम।।
करें ये प्रार्थना
करें ये प्रार्थना
इसका अर्थ है कि हाथ के अग्रभाग में लक्ष्मी का निवास होता है, मध्य भाग में सरस्वती व मूल भाग में कृष्ण भगवान का वास होता है।
प्रार्थना का अर्थ
प्रार्थना का अर्थ
उठते ही यह श्लोक बोलते समय हाथों को देखना चाहिए क्योंकि यह काफी अर्थपूर्ण विधान है।
अर्थपूर्ण विधान
अर्थपूर्ण विधान
यह श्लोक बोलने से मन में आत्मविश्वास, आत्मनिर्भरता और स्वावलंबन का भाव जागता है।
भाव जागृत
भाव जागृत
इस श्लोक के द्वारा लक्ष्मी - धन, सरस्वती - ज्ञान व कृष्ण - भगवान को याद करते हैं जिनके बिना हमारा जीवन अधूरा है।
श्लोक का अर्थ
श्लोक का अर्थ
सुबह-सुबह अपनी हथेलियों को देखकर यह श्लोक बोलने से इन तीनों की ही प्राप्ति केवल अपने हाथों से ही हो सकेगी।
तीनों की प्राप्ति
तीनों की प्राप्ति
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